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हमारे बारे में


विकासशील भारत में औद्योगिकीकरण के फलस्वरूप ग्रामीण भारत के लोग महानगरों तथा नगरों की ओर लोग जीविकोपार्जन के लिए यहाँ आकर बसे हैं। किन्तु महानगरों के रहन सहन में आजकल युवाओं में बढ़ती हुई आपराधिक प्रवृति एवं संस्कार हीनता उनकी चिन्ता का विषय है, और वे चाहते हैं कि उच्च व्यावसायिक ज्ञान के साथ साथ बच्चों में नैतिक मूल्यों के प्रति श्रद्धाभाव रहे और सनातन संस्कृति में उनकी रुचि बनी रहे।..आगे पढ़िए


संस्थापक का संदेश-


मुझे पृथ्वी का समृद्ध राज्य नहीं चाहिए, और मुझे मोक्ष भी नहीं चाहिए। मेरी तो यही उत्कृष्ट कामना है कि दुःखों में तपाए हुए प्राणियों का कष्ट दूर करूँ। भारतीय मनिषियों की हमेशा से ही यह धारणा रही है कि शिक्षा सामाजिक जीवन की आवश्यकता के अनुसार होनी चाहिए। शिक्षा का सामाजिक परिस्थितियों से सामंजस्य होना चाहिए। इसलिए शिक्षा पद्धतियों का भी देश, काल, परिस्थिति के अनुसार परिवर्तनशील होना आवश्यक है, साथ ही राष्ट्रीय संस्कृति, राष्ट्रीय मूल्यों के साथ-साथ नैतिक मूल्यों के प्रति आदरभाव भी होना आवश्यक है। प्रचलित शिक्षा पद्धति के प्रति अध्यापकों, शिक्षाशास्त्रियों एवं दार्शनिक विचारकों के मन में उत्पन्न होने वाले असंतोष से ही हमें आधुनिक शिक्षा पद्धति से समन्वित गुरुकुलीय शिक्षा प्रणाली प्रारंभ करने की प्रेरणा से यह प्रयास किया है।

वर्तमान आवश्यकता


  • स्थाई स्वामित्व के लिए भूमि / भवन
  • पुस्तक एवं लेखन आदि की सामग्री
  • विद्यार्थियों के लिए वस्त्र
  • भोजन सामग्री.
  • खेलकूद सामग्री
  • दैनिक उपयोग में की जाने वाली वस्तुएं
  • अन्य कार्यों हेतु अर्थ की आवश्यकता

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ज्योतिष


'ज्योतिषानयनं चक्षुः' भारतीय जीवन शैली में सभी कार्य, ग्रहों और नक्षत्रों की गति / स्थिति एवं ऋतुओं के अनुसार होता है। ग्रहों और नक्षत्रों की गति का ज्ञान ज्योतिष से ही होता है। 'वेदा हि यज्ञार्थमभिप्रवृत्ताः कालाग्निपूर्वाः विहिताश्च यज्ञाः। तस्मादिदं कालविधान शास्त्र यो ज्योतिषं वेद से वेद यज्ञम् ।।' हमारे सभी दैनिक कृत्य ज्योतिष पर ही निर्भर होते है।

ग्रहों की दशा ही हमारे जीवन की दिशा तय करती है। सही दशा ही हमें उचित दिशा में आगे ले जाती है। इसलिए इन्हें सही दशा व स्थिति में रखने के लिएया जानने के लिए ही हमरे वेबसाइट अथवा गुरुकुल में पधारकर दिखा सकते हैं ---

  • कुंडली
  • कुंडली मिलान
  • वैदिक ज्योतिष
  • वास्तुशास्त्र
  • ज्योतिषीय उपाय
  • हस्तरेखा शास्त्र
  • अंक ज्योतिष
  • राशि
  • टैरो रीडिंग
  • राशि रत्न
  • बच्चों के नाम
  • ग्रह

पूजा एवं धार्मिक अनुष्ठान


  • षोडश संस्कारविधि(विवाहसंस्कार, नामकरण संस्कार आदि )
  • गृहप्रवेश
  • कथा प्रवचन (श्री मद्भागवत महापुराण, श्री रामकथा, देवी भागवत, गीता आदि)
  • यज्ञ
  • महा मृत्युंजय जप
  • गृहशांति
  • वस्तुशांति
  • अन्य किसी भी धार्मिक अनुष्ठान के लिए गुरुकुल में संपर्क कर सकते हैं । योग प्रशिक्षक (योग गुरु/ Yoga Trainer)

आगामी कार्यक्रम

08 MAR

अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस 

11 DEC

गीता जयन्ती 

15 NOV

कार्तिक पूर्णिमा 

04 NOV

छठ पूजा

03 NOV

भ्रातृ द्वितीया/ भाई दूज 

02 NOV

गोवर्धन पूजा 

01 NOV

दीपावली/दीपोत्सव

29 Oct

धनतेरस (धनवन्तरी जयंती)

12 JAN

विवेकानन्द जयन्ती (युवा दिवस) महोत्सव 

15 JAN

मकर संक्रांति 

26 JAN

गणतंत्र दिवस 

02 Feb

गुरुकुल वार्षिकोत्सव (वसन्त पञ्चमी)

26 FEB 25

महाशिवरात्री / (मृत्युंजय महायज्ञ)

4 MARCH
सत्यनारायण कथा 
14 MAR 25

होली मिलन समारोह 

30 MAR 25

वासन्तिक नवरात्र के अवसर पर शतचण्डी महायज्ञ 

छात्र प्रशंसापत्र


हमारा ब्लॉग


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